The TIT College Story: सात साल के भीतर जिन लड़कियों ने कॉलेज छोड़े उसको लेकर घिरा कॉलेज प्रबंधन, दो आरोपी पूछताछ के लिए रिमांड पर लिए गए

भोपाल। ज्यादती और वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करने वाले गिरोह के दो साथी फिर रिमांड पर लिए गए हैं। रिमांड अवधि को पिछली बार अदालत में हुए हमले को देखते हुए गोपनीय रखा जा रहा है। इधर, टेक्नोक्रेट्स इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलॉजी (The TIT College Story) में ड्रॉप आउट छात्राओं को लेकर वह घिर गया है। खबर है कि उसे तकनीकी शिक्षा संचालनालय की तरफ से भी नोटिस मिलने वाला है। यह कवायद तब की जा रही है जब राष्ट्रीय महिला आयोग की टीम ने विशाखा कमेटी, हॉस्टल प्रबंधन, फैकल्टी समेत अन्य सवाल कॉलेज प्रबंधन से पूछ लिए थे। इन्हीं सवालों पर कॉलेज प्रबंधन शर्मसार हो गया था।
कॉलेज विशाखा कमेटी के संबंध में जानकारी नहीं दे सका

बागसेवनिया (Bagsewania) थाने में 11 अप्रैल को तीन प्रकरण दर्ज हुए थे। इनमें से दो प्रकरण जीरो पर कायम करके जहांगीराबाद और अशोका गार्डन थाने को भेजे गए थे। इन प्रकरणों में मुख्य आरोपी फरहान, उसका भांजा साद, साहिल, सैयद अली, अबरार, नबील और हामिद को बनाया गया था। इसमें हामिद (Hamid) ने खुदकुशी कर ली है। मुख्य आरोपी फरहान (Farhan) 2017 से टीआईटी कॉलेज में अध्ययन कर रहा था। उसने अधिकांश युवतियां जो उसके ही कॉलेज में पढ़ती थी उन्हें निशाना बनाया था। उनको आरोपी जमींदोज किए गए क्लब 90 (Club-90) में ले जाता था। यह क्लब मेहरबान सिंह गुर्जर (Meharban Singh Gurjar) का है। उन्होंने मोहित सिंह बघेल (Mohit Singh Baghel) को किराए पर चलाने दिया था। नगर निगम (Nagar Nigam) की तरफ से क्लब की लीज निरस्त करने से संबंधित कार्रवाई भी की जा रही है। कॉलेज और क्लब में दो दिन पहले राष्ट्रीय महिला आयोग भी पहुंचा था। टीआईटी कॉलेज विशाखा कमेटी के संबंध में जानकारी नहीं दे सका। इसके अलावा वह कॉलेज छोड़कर जाने वाली छात्राओं को लेकर भी डेटा उपलब्ध नहीं करा सका था। उधर, इस मामले में गिरफ्तार चल रहे दो आरोपियों साहिल (Sahil) और साद (Saad) को जहांगीराबाद थाना पुलिस ने रिमांड पर लिया है। पुलिस को अभी भी अबरार (Abrar) की तलाश है।
गर्भपात कराने वाला क्लीनिक रडार पर आया
उधर, रिमांड पर चल रहे साहिल और साद से हुई पूछताछ में एक और सनसनीखेज खुलासा हुआ है। उसने बताया कि दुष्कर्म से एक छात्रा को गर्भ ठहर गया था। उसको एक निजी अस्पताल के चिकित्सक की मदद से गर्भपात कराया गया था। पुलिस उस अस्पताल की कुंडली खंगाल रही है। रिमांड अवधि समाप्त होने के बाद मुख्य अरोपी फरहान खान उसके साथी नबील (Nabil ) और सैयद अली (Saiyed Ali) को अशोका गार्डन पुलिस ने मंगलवार को कोर्ट में पेश किया। इस मामले के आरोपियों को फंडिग कहां से होती थी और कौन करता था, इसका अब तक पुलिस पता नहीं लगा सकी है। इसके अलावा इस गिरोह में कुल कितने लोग शामिल हैं यह पता लगाया जाना भी बाकी है। फरहान के खिलाफ पूर्व में आपराधिक प्रकरण दर्ज होने की जानकारी भी सामने आयी है जिसका पुलिस सत्यापन कर रही है।
पहले मुलाकात से इंकार फिर कॉलेज प्रबंधन सर्टिफिकेट मांगने लगा
टीआईटी कॉलेज (The TIT College Story) के बाहर जमकर प्रदर्शन भी हो चुका है। कॉलेज के भीतर छात्राओं की सुरक्षा को लेकर वहां पढ़ने वाले कई अभिभावकों को चिंता है। जिसको लेकर प्रबंधन कोई भरोसा दिलाने की अवस्था में नहीं है। क्योंकि उसकी कई लापरवाहियां अब एक—एक करके बाहर आने लगी है। जिस कारण तकनीकी शिक्षा संचालनालय (Directorate Of Technical Education) भी सक्रिय हो गया है। वह विवाद में फंसने की बजाय कुछ चिन्हित बिंदुओं पर टीआईटी कॉलेज को नोटिस देने वाला है। इस संबंध में पुष्टि के लिए संचालनालय के सचिव एम.रघुराजन (M.Raghurajan) से संपर्क किया गया। उनका फोन लंबे समय तक व्यस्त चल रहा था। वहीं कॉलेज प्रबंधन की तरफ से आधिकारिक बयान देने के लिए आरएस मुखर्जी (R.S Mukharjee) से संपर्क किया गया। तीन दिन पूर्व उन्होंने कॉलेज में बातचीत करने से मना करते हुए प्रवेश ही नहीं दिया। अब फोन पर हुई बातचीत में वे प्रतिक्रिया के लिए कहने लगे कि इस संबंध में वे जिला प्रशासन और पुलिस से पत्र में आधिकारिक बयान के लिए लिखकर लाए। वे कॉलेज के भीतर छात्राओं की सुरक्षा को लेकर अनिवार्य रुप से बनाई जानी वाली विशाखा कमेटी को लेकर पूछे गए सवाल पर उत्तर दे रहे थे।
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