Bhopal Fraud News: पौने नौ लाख रुपए से अधिक की रकम स्लॉट बुक करने के नाम पर हड़पी, अफसरों से हुई शिकायत के बाद प्रकरण दर्ज

भोपाल। रजिस्ट्री करने वाले एक सर्विस प्रोवाइडर के खिलाफ पुलिस ने गबन का प्रकरण दर्ज किया है। इस मामले की जांच भोपाल (Bhopal Fraud News) शहर की गोविंदपूरा थाना पुलिस कर रही है। आरोपी ने सात महीने पहले रजिस्ट्री का स्लॉट बुक करने के नाम पर पौने नौ लाख रुपए से अधिक की रकम भेल से रिटायर्ड एक अधिकारी से ली थी। लेकिन, स्लॉट बुक करने के नाम पर वह उन्हें एक महीने तक सिर्फ तारीखें दिलाता रहा। नतीजतन, उन्होंने दूसरे से सर्विस प्रोवाइडर से बोलकर रजिस्ट्री करा ली। जिसके बाद रकम मांगी तो वह उन्हें टाल रहा था।
रजिस्ट्री का स्लॉट ही बुक नहीं किया
गोविंदपुरा (Govindpura) थाना पुलिस के अनुसार बरखेड़ा (Barkheda) स्थित एन—2 एआर सेक्टर में नागेंद्र उपाध्याय (Nagendra Upadhyay) रहते हैं। वे भेल (BHEL) से रिटायर्ड हुए हैं। उन्हें सेवानिवृत्ति के बाद भारी रकम मिली थी। उस रकम से उन्होंने अवधपुरी (Awadhpuri) में स्थित प्रगति नगर (Pragati Nagar) में करीब साढ़े चार हजार स्क्वायर फीट का फार्म हाउस (Farm House) का सौदा किया था। यह सौदा सोनागिरी (Sonagiri) में भूस्वामी मोतियानी के साथ हुआ था। अनुबंध 44 लाख रुपए में तय किया गया। इस अनुबंध के लिए उन्हें रजिस्ट्रार कार्यालय में रजिस्ट्री करानी थी। जिसके लिए उन्होंने सर्विस प्रोवाइडर मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) के साथ एग्रीमेंट किया। यह अनुबंध नवंबर, 2024 में हुआ था। सर्विस प्रोवाइडर ने रजिस्ट्री कराने से पूर्व स्लॉट बुक करने और रजिस्ट्री कराने के नाम पर आरटीजीएस के जरिए आरोपी ने 08 लाख, 83 हजार 680 रुपए ले लिए। यह रकम नागेंद्र उपाध्याय ने साकेत नगर (Saket Nagar) स्थित बैंक आफ इंडिया (BOI) के जरिए दी थी। इस कारण घटना स्थल गोविंदपुरा थाना क्षेत्र बनाया गया। रकम लेने के बाद मनोज तिवारी कभी सर्वर डाउन होने या फिर सरकारी छुट्टी होने का झांसा देकर पीड़ित को टालता रहा। तीसरी बार विरोध करने पर आरोपी ने एक शपथ पत्र बनाकर मांगा। वह भी सबमिट होने के बाद भी रजिस्ट्री का स्लॉट बुक नहीं किया। नतीजतन, पीड़ित रजिस्ट्रार से जाकर सीधे मिले तो उन्हें पूरी सच्चाई पता चली। इसके बाद उन्होंने दूसरे सर्विस प्रोवाइडर से सेवा लेकर रजिस्ट्री करा ली। उन्होंने मनोज तिवारी से रकम मांगी तो उसने टुकड़ों में साढ़े चार लाख रुपए लौटा दिए। लेकिन, बाकी रकम चार लाख 33 हजार रुपए वह नहीं लौटा रहा था। जिसके संबंध में पीड़ित ने कई थानों के चक्कर काटे। इसके बाद उन्होंने अफसरों से शिकायत की तो मामले की जांच गोविंदपुरा थाने को सौंपी गई। गोविंदपुरा थाना पुलिस ने इस मामले में 01 जुलाई को गबन का प्रकरण 398/25 दर्ज कर लिया है। प्रकरण के संबंध में विवेचना एसआई प्रेम सिंह ठाकुर (SI Prem Singh Thakur) की तरफ से की गई है।
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